Income Tax Return Filing: डेडलाइन एक्सटेंशन का फायदा
- नई तारीख: 31 अगस्त 2025 तक बिना लेट फीस के ITR फाइल करें। मूल डेडलाइन 31 जुलाई थी।
- सैलरीड कर्मचारियों को राहत: फॉर्म-16 और दस्तावेज जुटाने के लिए अतिरिक्त 30 दिन मिले।
- जुर्माना छूट: ₹5 लाख तक आय वालों को ₹1,000 और अन्य को ₹5,000 तक का लेट फीस माफ़।
Income Tax Return Filing: ई-वेरिफिकेशन की डेडलाइन न भूलें
- 30 दिन का नियम: Income Tax Return सबमिट करने के बाद ई-वेरिफाई करना अनिवार्य है। न करने पर रिटर्न अमान्य होगा।
- वेरिफाई करने के तरीके:
- आधार OTP
- नेट बैंकिंग
- डिजिटल सिग्नेचर (DSC)
- डाक से ITR-V भेजना
फॉर्म-16 की खास अहमियत
- 23 जुलाई तक जारी होगा: नियमों के मुताबिक, कंपनियों को यह तारीख तक फॉर्म-16 देना अनिवार्य है।
- चेक करें ये डिटेल्स:
- सैलरी ब्रेकअप (बेसिक, HRA, LTA)
- सेक्शन 80C/80D के तहत टैक्स सेविंग्स
- टीडीएस की रकम
ऑनलाइन Income Tax Return Filing स्टेप्स
- दस्तावेज तैयार करें: PAN-आधार लिंक, बैंक स्टेटमेंट, ब्याज प्रमाणपत्र, फॉर्म 16।
- पोर्टल पर लॉगिन: incometax.gov.in → “File Income Tax Return” चुनें।
- सही ITR फॉर्म सेलेक्ट करें:
- ITR-1: सैलरी/पेंशन/एक घर (₹50 लाख तक आय)
- ITR-2: कैपिटल गेन/मल्टीपल प्रॉपर्टी
- प्री-फिल्ड डेटा वेरिफाई: फॉर्म 26AS और AIS से मैच करें।
- टैक्स कैलकुलेशन: टैक्स पेयेबल/रिफंड चेक करें।
- ई-वेरिफाई: सबमिशन के 30 दिन के अंदर जरूर करें।
कॉमन गलतियों से सावधानी
- आधार न लिंक करना: फाइनेंस एक्ट 2017 के तहत जुर्माना लगेगा।
- बैंक अकाउंट छुपाना: पिछले 3 साल के सभी एक्टिव अकाउंट्स डिक्लेयर करें।
- इनकम सोर्सेज न दर्ज करना: FD ब्याज, स्टॉक प्रॉफिट, रेंटल इनकम शामिल करें।
2025 के नए अपडेट्स
- हाई-वैल्यू ट्रांजैक्शन: ₹2 लाख+ के कैश डिपॉजिट/विथड्रॉल आईटी डिपार्टमेंट को रिपोर्ट करें।
- प्रीफिल्ड टैक्स रिटर्न (PFR): ऑटो-पॉप्युलेटेड डेटा से फाइलिंग आसान हुई।
- एडवांस्ड डेटा एनालिटिक्स: AI टूल्स से गलतियों का पता लगाना।
विशेषज्ञ टिप्स
- फॉर्म 26AS जरूर चेक करें: यहाँ टीडीएस, एडवांस टैक्स और रिफंड की स्टेटस दिखती है।
- मिस्ड डेडलाइन का उपाय: बेलाटेदार रिटर्न (Belated Return) 31 दिसंबर तक फाइल करें (₹5,000 लेट फीस के साथ)।
- टैक्स सेविंग ऑप्शन: NPS, हेल्थ इंश्योरेंस और होम लोन पर एक्स्ट्रा कटौती।
Disclaimer: यह जानकारी सामान्य शिक्षा के लिए है। टैक्स नियम बदल सकते हैं। व्यक्तिगत सलाह के लिए सर्टिफाइड टैक्स एडवाइजर से संपर्क करें।